प्राचीन भारतीय इतिहास के साहित्यिक स्रोत
Abstract
वस्तुतः प्राचीन भारतीय इतिहास में अनुसंधान कार्य को अमली जामा पहनाना अत्यंत ही दुष्कर कार्य है। कई बार पुरातात्विक प्रमाण इतने अधिक अस्पष्ट प्रवृति के होते हैं कि अनुसंधानकर्त्ता को अपनी मानसिक दृष्टि थोपने का अवसर प्राप्त हो जाता है और वह अपने कथ्य और मन्तव्य के समर्थन में उपलब्ध साक्ष्यों व प्रमाणों के साथ स्वयं की बात भी शामिल कर लेता है। यदि प्राचीन भारतीय इतिहास के पुरातात्विक स्रोतों तथा साहित्यिक स्रोतों में भेद किया जाये तो साहित्यक स्रोत भी कम महत्व के नहीं हैं। वैदिक युग से लेकर प्राचीन भारतीय इतिहास के सम्बन्ध में अनेकों साहित्यक ग्रंथ लिखे गए हैं। इस सम्बन्ध में धर्मशास्त्रों, अर्थशास्त्र, महाकाव्य, पुराण, अरबी व फारसी रचनाएं तथा चीनी यात्रियों के विवरण इस शोध पत्र में शामिल करते हुए शोध को गति दी गई है और उपलब्ध साहित्य के आधार पर ही शोध पत्र लिखा गया है तथा यह द्वितीयक स्रोतों पर आधारित है।
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